तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन

इस बीच सबसे अच्छा परफॉर्म हुओबी टोकन ने किया। इसमें लगबग 19% की बढ़ोतरी हुई। TerraClassicUSD में 7 फीसदी की बढ़ोतरी रही। ओकेबी और बिटकॉइन एसवी 3-4% के बीच उछले।
महंगाई डेटा से क्रिप्टोकरेंसी बाजार में आया भूचाल, तीन हफ्तों के न्यूनतम स्तर पर आया बिटकॉइन
महंगाई डेटा आने से क्रिप्टो बाजार में भूचाल आ गया है। दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी, बिटकॉइन 22 सितंबर के भी निचले स्तर पर पहुंच गया है। सितंबर के अमेरिका के महंगाई के आए डेटा में महंगाई दर बीते 40 सालों में सबसे अधिक रही है। इस साल मई से इक्विवटी मार्केट और क्रिप्टो खासकर बिटकॉइन में सीधा को-रिलेशन नजर आया है। अगर इक्विटी मार्केट गिरती है तो बिटकॉइन में भी गिरावट आ जाती है।
22 सितंबर के निचले स्तर पर आया बिटकॉइन
बिटकॉइन इंट्रा डे ट्रेड में 18,319 डॉलर पर आ गया। इससे पहले बिटकॉइन सबसे नीचे 22 सितंबर को 18,415 डॉलर पर रहा था। बिटकॉइन का मार्केट कैप 363.73 बिलियन डॉलर पर था। अभी बिटकॉइन में बिकवाली के दौरान 6 फीसदी की गिरावट आई। दुनिया की दूसरे नंबर पर आने वाली क्रिप्टोकरेंसी ईथर में 3 फीसदी की गिरावट आई और ये 1,257 डॉलर पर कारोबार करता नजर आ। इसमें बीते एक हफ्ते में 8 फीसदी की गिरावट आई है।
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मार्केट कैप में रही गिरावट
ग्लोबल क्रिप्टो मार्केट कैप 901.85 डॉलर रहा और इसमें 2.18 फीसदी की गिरावट रही। हालांकि, मार्केट वॉल्यूम में 41.73 फीसदी की बढ़त रही और ये बीते 24 घंटों में 68.27 बिलियन डॉलर रहा।
इन क्रिप्टो में रही गिरावट
BNB में 1 फीसदी की गिरावट रही। वहीं, XRP और Cardano में 4 फीसदी की गिरावट रही। Solana और Dogecoin में क्रमश: 5% और 3% की गिरावट रही। सबसे कम परफॉर्म करने वाली क्रिप्टोकरेंसी में Convex Finance में 11 फीसदी की गिरावट रही, Klaytn and STEPN में 10 फीसदी गिरी। Ravencoin और Waves में 6 फीसदी की गिरावट नजर आई।
फरवरी में सेवा क्षेत्र में गिरावट, छह महीने के निचले स्तर पर
देश के सेवा क्षेत्र में फरवरी में संकुचन देखने को मिला तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन और यह गिरकर छह महीने के निचले स्तर पर आ गया है.
देश के सेवा क्षेत्र में फरवरी में संकुचन देखने को मिला और यह गिरकर छह महीने के निचले स्तर पर आ गया है. कमजोर मांग स्थितियों के बीच नए ऑर्डर में कमी के चलते यह गिरावट दर्ज की गई. एक मासिक सर्वेक्षण में यह परिणाम जारी किया गया है. निक्की इंडिया सर्विसेज कारोबार गतिविधि सूचकांक जनवरी के 51.7 अंक से गिरकर फरवरी में 47.8 अंक रह गया है, जो कि अगस्त के बाद का निम्न स्तर है. सूचकांक के 50 अंक स्तर के नीचे जाना तीन महीने में पहली बार गिरावट को दर्शाता है. पैनल के सदस्यों के मुताबिक कमजोर मांग स्थितियों के कारण सेवा क्षेत्र की गतिविधियों में दबाव देखा गया.
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कितने लोगों के पास है क्रिप्टोकरेंसी
संयुक्त तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन राष्ट्र की एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत में 2021 में कुल आबादी में से 7.3 फीसदी लोगों के पास क्रिप्टोकरेंसी थी। कोरोना काल तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन में दुनियाभर में क्रिप्टोकरेंसी का इस्तेमाल तेजी से बढ़ा है। दुनिया में आबादी के अनुपात के हिसाब से सबसे ज्यादा क्रिप्टोकरेंसी यूक्रेन के लोगों के पास है। वहा 12.7 फीसदी लोगों के पास क्रिप्टोकरेंसी है। रूस में 11.9 फीसदी, वेनेजुएला में 10.3 फीसदी, सिंगापुर में 9.4 फीसदी, केन्या में 8.5 फीसदी और अमेरिका में 8.3 फीसदी लोगों के पास क्रिप्टोकरेंसी है।
Bitcoin Crash : क्रिप्टो मार्केट में बड़ी गिरावट, बिटकॉइन तीन महीनों के सबसे निचले स्तर पर आया
Bitcoin, Ether सहित कई बड़ी क्रिप्टोकरेंसीज़ में बड़ी गिरावट.
क्रिप्टोकरेंसी का बाजार हिचकोले खा रहा है. गुरुवार को Bitcoin और Ether जैसी बड़ी क्रिप्टोकरेंसीज़ में जबरदस्त गिरावट दर्ज हो रही है. बिटकॉइन अपने तीन तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन महीनों के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गया है. ग्लोबल बाजारों में बिटकॉइन की वैल्यू में पिछले 24 घंटों में सात फीसदी से तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन ज्यादा गिर गई है. वहीं, भारत में क्रिप्टो एक्सचेंज CoinSwitch Kuber पर इस अवधि में इस करेंसी में 6.17 फीसदी की गिरावट आई है.
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गुरुवार की दोपहर 12.15 के आसपास बिटकॉइन में 6.40% की गिरावट आई थी और यह 34,71,537 रुपये के स्तर पर पहुंच गया था. ग्लोबल बाजारों में इसकी कीमत 43,000 डॉलर्स के आसपास चल रही है. बता दें कि इसके पहले 21 दिसंबर, 2021 को बाजार में फ्लैश क्रैश हुआ था, जिसके बाद बिटकॉइन 34.96 लाख के स्तर पर आया था. लेकिन उसके पहले 1 अक्टूबर, 2021 को सबसे बड़े इस करेंसी की वैल्यू गिरकर 32,16,694 रुपये के स्तर पर आ गई थी. ऐसे में बिटकॉइन अपने तीन महीनों के सबसे निचले स्तर पर आ गया है.
Ether में भी पिछले 24 घंटों में नौ फीसदी से ज्यादा की गिरावट आई है. पिछले एक हफ्ते में इस करेंसी में 6.8 फीसदी की गिरावट देखी गई है. गुरुवार की दोपहर CoinSwitch पर इसकी कीमत 8.90% की गिरावट के साथ 2,78,637 रुपये के स्तर पर चल रही थी.
बता दें कि यह बड़ी गिरावट तब आई है, जब यूएस फेडरल रिजर्व ने संकेत दिया है कि वो अपने इंटरेस्ट रेट को वक्त से पहले बढ़ा सकता है. दरअसल, महंगाई को काबू करने के लिए और अर्थव्यवस्था में ज्यादा स्थिरता लाने के लिए फेडरल बैंक, बैंकों के लिए उधार लेना महंगा कर देगा. इस खबर से शेयर बाजारों को भी झटका लगा है. वहीं, बिटकॉइन नेटवर्क पर हैश एक्टिविटी में सबसे ज्यादा 18 फीसदी का हिस्सा रखने वाले कज़ाखस्तान में इंटरनेट शटडाउन की घटना हुई है, जिसके बाद BTC के हैशरेट मे 13.4 फीसदी की गिरावट आई थी, जिससे कि बिटकॉइन का वैल्यू भी गिर गया.
भारत में सोने के रेट
मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज ऑफ इंडिया लिमिटेड (एमसीएक्स) पर सोना वायदा 50,648 रुपये पर था. Goodreturns वेबसाइट के आंकड़ों के मुताबिक, बुधवार को 22 कैरेट सोने की कीमत 46,750 रुपये प्रति 10 ग्राम रही, जबकि 24 कैरेट सोने की कीमत 51,तीन महीने के निचले स्तर पर गिरा बिटकॉइन 000 रुपये प्रति 10 ग्राम रिपोर्ट की गई.
बता दें, इन दरों में वस्तु एवं सेवा कर (GST) शामिल नहीं है और सोने की कीमतें अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग होती हैं.
क्यों गिर रहे हैं सोने के भाव?
सोना लगभग 1,830 डॉलर के महत्वपूर्ण मूल्य समर्थन स्तर पर बैठा है और यदि मुद्रास्फीति अपेक्षा से कमजोर रही, तो कीमतों में आते हुए दिखाई दे सकता है. यदि मुद्रास्फीति लाइन में रही, तो सोने की कीमतें 1,800 डॉलर से कम होकर 1,680 डॉलर के लेवल तक जा सकती हैं. सोना शॉर्ट टर्म में अमेरिकी ब्याज दरों में वृद्धि के प्रति अत्यधिक संवेदनशील है.